इंदौर (राजेश जैन दद्दू)। श्रुत संवेगी मुनि श्री 108 आदित्य सागर जी महाराज एवं संघ के सानिध्य में पश्चिम क्षेत्र में शुक्रवार को एयरपोर्ट रोड पर स्थित अम्बिकापुरी एक्सटेंशन में नव निर्माणधीन जिन मंदिर के लिए मूर्ति विराजमान कर्ता के पात्र एवं शिलान्यासकर्ता के पात्र चयनित हुए। मूलनायक भगवान चंदाप्रभु एवं नेमिनाथ जी के साथ ही चौबीस तीर्थंकरों की मूर्ति विराजमान के पात्रों का चयन भी हुआ।
मुनिश्री ने प्रवचन में कहा कि एक मंदिर बनने से आसपास का माहौल सुधर जाता है। बच्चे गलत राह पर जाने से बचते हैं। कार्यक्रम में उपस्थित विश्व हिंदू परिषद के अंतराष्ट्रीय उपाध्यक्ष हुकुमचंद सावला ने कहा कि सांसारिक आपाधापी में व्यस्त होने से व्यक्ति परेशान, हताश और निराश हो चुका है। इस परेशानी से मुक्त होने का स्थान मंदिर है, जहां सारी नेगेटिव ऊर्जा समाप्त होकर पॉजिटिव ऊर्जा का संचार होता है।
पण्डित प्रदीप शास्त्री ललितपुर ने कार्यक्रम में बोलिया लगवाईं जिसमें मंदिर के ऊपरी मंजिल के मूलनायक भगवान नेमिनाथ जी को विराजमान करने का सौभाग्य दिलीप-आशीष जैन अम्बिकापुरी को मिला। साथ ही कई और प्रतिमा जी के लिए भी मूर्ति विराजमानकर्ताओं का चयन हुआ। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर बीजेपी फीडबैक डिपार्टमेंट हेड डॉ. निशांत खरे एवं डीसीपी क्राइम रजत सकलेचा भी उपस्थित थे।
साथ ही जैन समाज के वरिष्ठ डॉ. जैनेन्द्र जैन हंसमुख गांधी, प्रदीप बड़जात्या, टी के वेद, विकास सोनल जैन, नकुल पाटौदी, पिंकी टोंग्या, रिषभ पाटनी, पंडित सतीश जैन एवं अन्य उपस्थित थे। अंत मे आभार समग्र जैन समाज अम्बिकापुरी परमहंस नगर न्यास समिति ने व्यक्त किया। यह जानकारी जैन समाज मीडिया प्रभारी राजेश जैन दद्दू ने दी।