सारांश
मधुबन में 10 जनवरी को आदिवासी समाज जनसभा व रैली निकाल रहा है। गत रविवार को एक तरफ प्रशासन बैठक कर रहा था। दूसरी तरफ, सिदो-कान्हो विद्यालय चिरकी में बैठक हुई थी। मरांग बुरु सांवता सुसार बैसी के बैनर तले आयोजित इस बैठक में कार्यक्रम का प्रचार प्रसार करने का निर्णय लिया गया।हमारे तीर्थ पर संथाल आदिवासियों का दावा
प वित्र पारसनाथ क्षेत्र को लेकर कहा गया कि पारसनाथ पहाड़ संथाल समाज का मरांगबुरु है। यह इस समाज का विश्व प्रसिद्ध तीर्थस्थल है। स्थानीय कुछ आदिवासी नेता यहां जन भावनाएं भड़काने में लगे हैं। आदिवासी नेताओं ने आरोप लगाया कि अभी केंद्र व राज्य सरकार मिलकर इसे कथित रूप से जैनियों के हवाले करना चाहती है। मधुबन में आज 10 जनवरी को विशाल आमसभा व रैली प्रस्तावित है।इस दौरान कार्यक्रम की रुपरेखा, विचार-विमर्श व तैयारियों पर चर्चा की गई। इसमें मधुबन व चिरकी के लोगों से अपील की गई कि आसपास के सभी ग्रामीण, व्यवसायी, दुकानदार, वाहन चालक, डोली मजदूर, डेली मजदूर, कोठी के कर्मचारी व समस्त आदिवासी मूलवासी अपने अपने प्रतिष्ठान बंद रखें।
ये हैं आदिवासियों के नेता
सिकंदर हेंब्रम, बाबूराम हेंब्रम, अमर तुरी, बुधन हेंब्रम, अर्जुन हेंब्रम, धनेश्वर महतो मधुबन की रैली को जयराम महतो प्रमुख नेता हैं। सलखन मुर्मू व विधायक लोबिन हेंब्रम भी संबोधित करेंगे। पूरे देश के आदिवासी इसमें शामिल होने के दावे किए जा रहे हैं।
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