आगरा में दो दिवसीय संगोष्ठी में देश-विदेश के वक्ताओं ने अपने उद्गारों से जैन समाज के लोगों का ज्ञानवर्द्धन किया। इस अवसर पर आचार्य श्री अनुकृति एवं अनुभव एवं गो वैभव शतकम पुस्तक का विमोचन किया गया। पढ़िए आगरा से राजेश सिंघई की यह खबर…
आगरा। डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय, ओं अर्हम सोशल वेलफेयर फाउंडेशन, गुरुकुल यूके लंदन, अखिल विश्व हिंदी समिति कनाडा एवं कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी हिंदी तथा भाषा विज्ञान पीठ के तत्वावधान में द्वि-दिवसीय अंतरराष्ट्रीय विद्वत्त संगोष्ठी हुई। संस्कृत शतक काव्य परंपरा में मुनि श्री प्रणम्य सागर जी महाराज द्वारा रचित गो वैभव शतकम् के विषय पर प्रथम सत्र हुआ। स्थानीय पालीवाल पार्क स्थित डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय के जुबली हॉल में 16 दिसंबर को विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर आशु रानी की अध्यक्षता में संगोष्ठी की गई। जिसकी शुरुआत मुख्य वक्ता डॉ. अमितकुमार जैन ने सरस्वती वंदना कर की।
अतिथियों को सम्मानित किया
इस अवसर पर डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय एवं ओं अर्हम सोशल वेलफेयर फाउंडेशन ने विद्वानों का शोल ओढ़ाकर तथा मां सरस्वती की प्रतिमा भेंटकर स्वागत अभिनंदन किया। इसके बाद अंतरराष्ट्रीय विद्वत संगोष्ठी में जैन विद्या एवं प्राकृत विभाग शयादवाद महाविद्यालय वाराणसी से आए डॉ. अमितकुमार जैन ने सभी छात्र-छात्राओं को गो वैभव शतकम एवं गौसेवा के बारे में समझाया।
मुनिश्री प्रणम्य सागर जी को लाइव सुना
संगोष्ठी के मध्य में जयपुर में विराजमान मुनि श्री प्रणम्यसागर जी महाराज के लाइव आशीष वचन सुनने का सौभाग्य मिला। संगोष्ठी के समापन के बाद विद्वानों ने आचार्य विद्यासागर जी महाराज एवं मुनिश्री प्रणम्य सागर जी महाराज द्वारा रचित आचार्य श्री अनुकृति एवं अनुभव एवं गो वैभव शतकम पुस्तक का विमोचन किया। संगोष्ठी का संचालन डॉ. वर्षा रानी ने किया।
यह अतिथि रहे मौजूद
इस अवसर पर संगोष्ठी में केएमआई के निदेशक एवं संगोष्ठी अध्यक्ष प्रदीप श्रीधर, स्वागत अध्यक्ष पन्नालाल बैनाड़ा, मुख्य अतिथि डॉ. इंदू बारोठ लंदन, विशिष्ट अतिथि अशोक व्यास अमेरिका एवं सारस्वत अतिथि वरिष्ठ आध्यात्मिक कवि गोपाल बघेल कनाडा, सारस्वत अतिथि डॉ. देशबंधु शर्मा दिल्ली, डॉ. अमित जैन के अलावा डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय के प्रोफेसर एवं ओं अर्हम सोशल वेलफेयर फाउंडेशन के अंतरप्पा सिद्धार्थ जैन, अंतरप्पा अरुणा जैन, अंतरप्पा सीमा जैन, अंतरप्पा ईशा जैन उपस्थित थे।
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