स्वर्णमयी स्वर्णभद्र कूट पर निरंतर 10 माह से अधिक समय से महाराज श्री विराजमान हैं। ऐसे अंतर्मना गुरुदेव का आज 54 वां पारणा था । जिसमे पांच दिवस के उपवास के बाद गुरुदेव ने सिर्फ 3 अंजलि जल लेकर पारणा विधि पूर्ण की।
निश्चित ही वर्तमान में महावीर के समान साधना करने वाले प्रथम आचार्य अंतर्मना ही है। ऐसे साधक की महापारणा दिनांक 28/01/2023 को सम्मेद शिखर में होना निश्चित हुआ औऱ साथ ही साथ महाप्रतिष्ठा का होना भी निश्चित हुआ है।
महामुनिराज का पारणा स्वर्णभद्र कूट पर निरन्तरराय सम्पन्न हुआ। मुनि श्री ने सभी को मंगल आशीर्वाद दिया।
आप को यह कंटेंट कैसा लगा अपनी प्रतिक्रिया जरूर दे।
+1
+1
+1
Add Comment