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श्रद्धा और भक्ति की बहेगी बयार : 35वां 35वां आचार्य पदारोहण दिवस मनाया जाएगा अनेक धार्मिक कार्यक्रमों के साथ


 पंचम पट्टाधीश आचार्य श्री वर्धमानसागर जी महाराज का त्रिदिवसीय 35वां आचार्य पदारोहण दिवस बांसवाड़ा में मनाया जाएगा। प्रथमाचार्य चारित्रचक्रवर्ती आचार्य श्री शांतिसागर जी महाराज के अक्षुण्ण मूल बाल ब्रह्मचारी पट्ट परंपरा के 74 वर्षीय आचार्य श्री वर्धमान सागर जी 48 साधु सहित बाहुबली कॉलोनी बांसवाड़ा में विराजित हैं। पढ़िए राजेश पंचोलिया की रिपोर्ट…


बांसवाड़ा। पंचम पट्टाधीश आचार्य श्री वर्धमानसागर जी महाराज का त्रिदिवसीय 35वां आचार्य पदारोहण दिवस बांसवाड़ा में मनाया जाएगा। प्रथमाचार्य चारित्रचक्रवर्ती आचार्य श्री शांतिसागर जी महाराज के अक्षुण्ण मूल बाल ब्रह्मचारी पट्ट परंपरा के 74 वर्षीय आचार्य श्री वर्धमान सागर जी 48 साधु सहित बाहुबली कॉलोनी बांसवाड़ा में विराजित हैं। सकल दिगंबर जैन समाज बाहुबली कॉलोनी बांसवाड़ा द्वारा आगामी 5 जुलाई से 7 जुलाई तीन दिवसीय आचार्य पदारोहण कार्यक्रम श्रद्धा और भक्ति भावपूर्वक मनाया जाएगा। समाज अध्यक्ष महेंद्र वोरा कमल सगरीया एवं समाज प्रवक्ता महेंद्र कवालिया ने बताया कि इस अवसर पर तीनों दिन कार्यक्रम होंगे। इस मंगल मय पावन प्रसंग पर श्री क्षेत्र श्रवण बेलगोला के भट्टारक स्वामी जी सहित अन्य विशिष्ट अतिथियों की उपस्थिति रहेगी।

पांच जुलाई को प्रातकाल श्रीजी के अभिषेक शांतिधारा, पूजन और विन्याजंलि सभा पश्चात आचार्य श्री के प्रवचन होंगे। दोपहर को श्री शांतिविधान और शाम को श्रीजी एवम आचार्य श्री आरती एवं भजन संध्या होगी, ।6 जुलाई को प्रातःकाल अभिषेक ,शांति धारा ,पूजन के पश्चात आचार्य श्री के विन्यांजली सभा होगी पश्चात आचार्य श्री के प्रवचन होंगे ।दोपहर को आचार्य वर्धमान सागर मंडल विधान पर पूजन होगी शाम को श्री जी एवंम आचार्य श्री की आरती पश्चात वात्सल्य वारिधी आचार्य वर्धमान सागर जी के जीवन पर भव्य नाटिका की प्रस्तुति की जाएगी। अंतिम दिवस 7 जुलाई को प्रातः काल अभिषेक पूजन शांति धारा के पश्चात विनयाजंलि सभा आचार्य श्री के प्रवचन होंगे दोपहर को विशाल शोभायात्रा का समापन पांडाल में होगा। आचार्य श्री की 35 द्रव्यों से भव्य पूजन की जावेगी। आचार्य श्री वर्धमान सागर जी के चरणप्रक्षालन, जिनवाणी भेंट और नवीन मयूर पिच्छी पुण्यार्जक परिवार द्वारा दी जाएगी, शाम को 108 दीपक से आरती होगी। राजेश पंचोलिया इंदौर अनुसार आचार्य श्री वर्धमान सागर जी का जन्म सनावद मध्यप्रदेश में 18 सितम्बर 1950 को हुआ। आपने 18 वर्ष की उम्र में गृह त्याग कर मात्र 19 वर्ष की आयु में तृतीय पट्टाधीश आचार्य श्री धर्म सागर जी से महावीर जी में 24 फरवरी 1969 को सीधे मुनि दीक्षा ली।

चतुर्थ पट्टाधीश आचार्य श्री अजित सागर जी की समाधि पश्चात लिखित पत्र में आदेश अनुसार 24 जून 1990 आषाढ़ शुक्ला दूज को पारसोला में आचार्य पद दिया गया।आपने वर्ष 1993,वर्ष 2006 वर्ष 2018 में भगवान श्री बाहुबली का तथा वर्ष 2022 में श्री महावीर स्वामी का महामस्तकाभिषेक आपके प्रमुख सानिध्य में हुआ। अभी तक 56 वर्षायोग हुए हैं। इन 56 वर्षों में 107 दीक्षाए प्रदान की हैं। आपकी प्रेरणा से प्रथमाचार्य श्री शांति सागर जी का आचार्य पदारोहण शताब्दी महोत्सव अक्टूबर माह वर्ष 2024 से अक्टूबर माह 2025 तक सम्पूर्ण देश में मनाया जाएगा।

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